गाजीपुर: महर्षि विश्वामित्र स्वशासी राजकीय मेडिकल कॉलेज में आयुष्मान कार्ड के पात्रों का उपचार नहीं हो पा रहा है। जिम्मेदार सॉफ्टवेयर बदलने और आयुष्मान मित्र के काम छोड़ने का हवाला देकर पल्ला झाड़ ले रहे हैं। खास बात यह है कि हाथ टूटने पर चिकित्सक सर्जरी के नाम पर 22 हजार रुपये तक की मांग कर रहे हैं। शिकायत करने पर रेफर करने तक की धमकी दी जाती है।
शहर एवं ग्रामीण इलाकों के अलावा दूसरे प्रांत और जनपदों से मरीज उपचार कराने मेडिकल कॉलेज अस्पताल पहुंच रहे हैं। हादसे में हड्डी टूटने पर उपचार के लिए सबसे अधिक मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं। ऐसे में उन्हें आर्थिक दंश भी झेलना पड़ रहा है। पीड़ित द्वारा आयुष्मान योजना का पात्र बताने के बाद भी चिकित्सक सर्जरी और उपचार तो दूर रेफर करने तक की धमकी दे रहे हैं।
एक 70 वर्षीय महिला का हाथ फ्रैक्चर होने पर परिजन जब उसे मेडिकल कॉलेज पहुंचे तो वहां तैनात आर्थो सर्जन द्वारा सर्जरी के नाम पर मोटी रकम मांगी गई। जबकि पीड़िता के परिजनों ने आयुष्मान योजना का पात्र होना भी बताया। बावजूद इसके स्थिति जस की तस बनी हुई है। प्राचार्य प्रोफेसर आनंद मिश्रा ने बताया कि आठ मार्च को महिला की सर्जरी कराई जाएगी। अगर किसी भी चिकित्सक की पैसा मांगने की शिकायत मिलती है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। इस पूरे मामले की जांच की तैयारी भी शुरू कर दी गई है।