
गाज़ीपुर (मरदह): बौद्ध कल्याणकारी महिला उत्थान ट्रस्ट के तत्वावधान में समर्थ योजना के अंतर्गत 120 बच्चियों को सिलाई-कढ़ाई प्रशिक्षण पूर्ण करने पर प्रमाण पत्र प्रदान किए गए। इस अवसर पर समाजसेवी राजकुमार मौर्य की 25वीं वैवाहिक वर्षगांठ पर बच्चियों ने एक अद्वितीय मिसाल पेश की उन्होंने अपने सामूहिक चंदे से केक मंगवाकर इस अवसर को विशेष बना दिया।
ग्रामीण प्रतिभाओं को नया आयाम कार्यक्रम के मुख्य अतिथि, शिक्षक महेंद्र सिंह यादव ने संस्था के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में इस तरह के कौशल प्रशिक्षण बच्चों, विशेषकर बालिकाओं के आत्मनिर्भर बनने की दिशा में मील का पत्थर हैं। उन्होंने कहा कि आज के समय में हुनर के माध्यम से नारी सशक्तिकरण की दिशा में यह कदम अत्यंत सराहनीय है।
बच्चियों ने मनाया गुरु का विशेष दिन इस अवसर को और खास बनाते हुए ट्रस्ट की बच्चियों ने पारंपरिक ढंग से पूरे क्लासरूम को काले-सफेद गुब्बारों से सजाया। समाजसेवी राजकुमार मौर्य एवं उनकी धर्मपत्नी सावित्री मौर्य के कक्षा में प्रवेश से पहले आरती उतारी गई और रिबन काटकर उनका स्वागत किया गया। बच्चियों ने स्वेच्छा से चंदा इकट्ठा कर केक मंगाया और अपने गुरु-दंपति से केक कटवाकर उनका सम्मान किया। अपने संबोधन में राजकुमार मौर्य भावुक हो उठे। उन्होंने जीवन के संघर्षों को साझा करते हुए कहा, “कई बार ऐसा लगा कि समस्याओं का कोई अंत नहीं, लेकिन मेरी पत्नी ने हर कदम पर मेरा साथ निभाया। आज इन बच्चियों से जो स्नेह मिला, वह मेरे लिए अविस्मरणीय है।”

विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति में भव्य आयोजन कार्यक्रम में संस्था के सचिव संतोष गुप्ता, ममता गुप्ता समेत सैकड़ों बच्चियों ने भाग लिया। संचालन यूनिटी फाउंडेशन के संस्थापक व समाजसेवी हिमांशु मौर्य ने कुशलता से किया। सांस्कृतिक प्रस्तुतियों ने समस्त कार्यक्रम को उल्लासमय बना दिया।
यह आयोजन समाज और शिक्षा के समन्वय से कैसे एक नई सोच और उम्मीद की किरण बन सकता है, इसका जीवंत उदाहरण बना।
